इज वैली की लेटेस्ट रिपोर्ट के अनुसार, 90% भारतीय महीने के ₹25,000 से भी कम कमाते हैं। वहीं, जो लोग महीने के ₹1,00,000 से ज्यादा कमाते हैं, वे टॉप 3% में गिने जाते हैं। टॉप 1% में वे आते हैं, जो ₹3,75,000 से ज्यादा कमाते हैं। इस रिपोर्ट से यह भी पता चलता है कि सिर्फ 8% भारतीयों के पास कारें हैं, 28% के पास एसी या कूलर है, 38% के पास फ्रिज, और 50% के पास टू-व्हीलर्स हैं।
यह आंकड़ा साफ़ दिखाता है कि अधिकतर भारतीय मिडिल क्लास की जकड़ में फंसे हुए हैं। सीधा कहें, तो अभी भी 90% से अधिक लोग अपनी रोजमर्रा की कमाई पर निर्भर हैं और असली क्षमता का उपयोग नहीं कर पाते।
सिर्फ बिजनेस नहीं, स्मार्ट जॉब भी बना सकती है आपको अमीर: जानें मिडिल क्लास ट्रैप से निकलने का सीक्रेट!
इस मिडिल क्लास ट्रैप में फंसे रहने का असर न केवल व्यक्ति पर बल्कि देश की अर्थव्यवस्था पर भी पड़ता है। अगर हम चाहते हैं कि इस ट्रैप से बाहर निकलें, तो हमें बिजनेस या फिर अच्छी नौकरी की तरफ ध्यान देना होगा। बहुत से लोग मानते हैं कि केवल बिजनेस ही उन्हें इस ट्रैप से बाहर निकाल सकता है, लेकिन यह सोच पूरी तरह सही नहीं है।
बिजनेस बनाम नौकरी: एक मिथक का टूटना
हमें अक्सर बताया जाता है कि बिजनेस करना अच्छा है और यह मिडिल क्लास की बेड़ियों को तोड़ने का एकमात्र तरीका है। यह धारणा इतनी आम है कि आपने कई बार सुना होगा, “नौकरी करने से आदमी नौकर बनता है, लेकिन बिजनेस से मालिक बनता है।” लेकिन हकीकत यह है कि बिजनेस की अपनी चुनौतियाँ और जोखिम होते हैं।
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उदाहरण: बायजूस की कहानी
बायजूस, जो कभी एक सफल एडटेक कंपनी थी, अब एक बड़ी गिरावट का सामना कर रही है। फोर्ब्स के मुताबिक, अप्रैल 2024 में बायजूस के फाउंडर बायजू रविंद्रन की नेटवर्थ शून्य हो गई थी, जबकि पिछले साल ही यह ₹17,543 करोड़ थी। बायजूस की शुरुआत 2011 में हुई थी और यह धीरे-धीरे प्रसिद्ध हो गई। COVID-19 के दौरान इसकी लोकप्रियता और वैल्यूएशन 22 बिलियन डॉलर तक पहुंच गई। लेकिन जैसे ही महामारी खत्म हुई, ई-लर्निंग का आकर्षण घटने लगा और बायजूस का डाउनफॉल शुरू हो गया।
बायजूस का फेल होना इस बात का सबूत है कि बिजनेस में केवल मुनाफा ही नहीं होता, बल्कि जोखिम भी होता है। अगर बिजनेस गलत दिशा में जाता है, तो व्यक्ति सबकुछ खो सकता है।
उदाहरण: सुंदर पिचाई का सफर
दूसरी ओर, सुंदर पिचाई, जो गूगल के सीईओ हैं, उन्होंने अपनी नौकरी से करोड़ों कमाए हैं। उन्हें सालाना $226 मिलियन की सैलरी मिलती है और उनकी कुल संपत्ति लगभग 1.66 बिलियन डॉलर है। यह संपत्ति इतनी है कि इससे आप दुबई का बुर्ज खलीफा खरीद सकते हैं। सुंदर पिचाई का उदाहरण यह साबित करता है कि एक अच्छी नौकरी से भी इंसान करोड़पति बन सकता है।
जॉब या बिजनेस: आपके लिए क्या सही है?
बिजनेस और नौकरी में से क्या चुनना चाहिए, यह व्यक्ति की रुचि और क्षमता पर निर्भर करता है। मिडिल क्लास ट्रैप से निकलने के लिए केवल पैसे की नहीं, बल्कि एक खास गुण की भी जरूरत होती है, जिसे हम “एक्स फैक्टर” कहते हैं। यह एक्स फैक्टर आपकी खुशी से जुड़ा होता है।
अगर आपको अपने काम में खुशी मिलती है, तो आप उसमें बेहतर प्रदर्शन कर सकते हैं। लेकिन अगर आप केवल पैसा कमाने के लिए काम करते हैं, तो लंबे समय में आप इससे ऊब सकते हैं।
एआईओयू फ्रेमवर्क
“डिजाइनिंग योर लाइफ” नामक किताब के लेखक बिल बर्नेट के अनुसार, अपनी जिंदगी को सफल बनाने के लिए “एआईओयू फ्रेमवर्क” का इस्तेमाल किया जा सकता है। यह फ्रेमवर्क आपकी रुचियों को पहचानने में मदद करता है और आपको बताता है कि आप नौकरी में खुश रहेंगे या बिजनेस में।
डिज़ाइन थिंकिंग मॉडल
जैसे कंपनियां डिजाइन थिंकिंग का उपयोग करके बेहतरीन प्रोडक्ट्स बनाती हैं, वैसे ही आप भी इस मॉडल का उपयोग करके अपनी जिंदगी को सफल बना सकते हैं। डिज़ाइन थिंकिंग में पांच स्टेप्स होते हैं:
- यूजर की जरूरत को समझना
- सही समस्या को परिभाषित करना
- सॉल्यूशंस के लिए विचार करना
- प्रोटोटाइप बनाना
- छोटे स्तर पर सैंपल को टेस्ट करना
इन स्टेप्स के जरिए आप अपने करियर में भी बदलाव ला सकते हैं और अपने लिए सही दिशा चुन सकते हैं।
निष्कर्ष: जॉब हो या बिजनेस, खुशी सबसे अहम है
जॉब और बिजनेस के बीच का चुनाव पूरी तरह से आपकी खुशी और रुचियों पर निर्भर करता है। पैसा जरूर महत्वपूर्ण है, लेकिन उससे ज्यादा जरूरी है कि आप उस काम में खुश रहें जो आप करते हैं।
अगर आप जॉब में खुश रहते हैं और उसमें बेहतर प्रदर्शन कर सकते हैं, तो यह भी एक सही विकल्प है। वहीं, अगर बिजनेस में आपकी रुचि है और आपको नए आइडियाज के साथ काम करना पसंद है, तो आप बिजनेस की ओर भी जा सकते हैं।
मिडिल क्लास ट्रैप से निकलने के लिए हमें यह समझना होगा कि जीवन केवल ब्लैक और व्हाइट में नहीं होता, बल्कि इसमें ग्रे एरिया भी होता है। हर इंसान के लिए सफलता का रास्ता अलग होता है, और यह रास्ता तभी सही होता है जब वह आपकी खुशी से जुड़ा हो।
तो दोस्तों, चाहे आप बिजनेस करें या जॉब, अपने एक्स फैक्टर को पहचानें और उसी दिशा में आगे बढ़ें। यही एक तरीका है जिससे आप मिडिल क्लास की बेड़ियों को तोड़ सकते हैं और अपने जीवन को एक नई दिशा दे सकते हैं।