रतन टाटा का निधन: 86 साल की उम्र में ली अंतिम सांस, देश में शोक

महानायक रतन टाटा का निधन

भारत के दिग्गज उद्योगपति रतन टाटा का 86 साल की उम्र में निधन हो गया। उन्होंने मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में अंतिम सांस ली।

राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार

रतन टाटा का अंतिम संस्कार पूरे राजकीय सम्मान के साथ किया जाएगा। उनका पार्थिव शरीर NCPA लॉन में रखा गया है, जहाँ लोग अंतिम दर्शन कर सकते हैं।

पीएम मोदी ने जताया शोक

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शोक जताते हुए कहा: “रतन टाटा एक दूरदर्शी बिजनेस लीडर, दयालु आत्मा और एक प्रेरणादायक इंसान थे।”

रतन टाटा की दरियादिली

रतन टाटा एक उदार और मददगार व्यक्तित्व के लिए जाने जाते थे। वे हमेशा गरीबों, जानवरों और छात्रों की मदद के लिए आगे रहते थे।

टाटा ग्रुप को ऊँचाईयों पर पहुँचाया

1991-2012 तक चेयरमैन रहते हुए रतन टाटा ने टाटा ग्रुप को अंतरराष्ट्रीय पहचान दिलाई। उन्होंने TCS, टाटा मोटर्स, और टाटा स्टील को बुलंदियों पर पहुँचाया।

पद्म भूषण और पद्म विभूषण सम्मान

रतन टाटा को भारत सरकार ने 2000 में पद्म भूषण और 2008 में पद्म विभूषण से सम्मानित किया था।

कर्मचारियों के प्रिय थे रतन टाटा

रतन टाटा सभी कर्मचारियों से प्यार और सम्मान से पेश आते थे। वे सभी की जरूरतों को समझते और उनकी मदद करते थे।

एक सच्चे नेता की पहचान

रतन टाटा ने कहा था: "काम तभी बेहतर होगा जब आप उसकी इज्जत करेंगे। सफलता के लिए अकेले शुरू करो, लेकिन उसे ऊँचाई पर पहुँचाने के लिए साथियों का सहयोग जरूरी है।"

विमान उड़ाने का शौक

रतन टाटा का जीवन सादा था, लेकिन वे अपने शौक के लिए जाने जाते थे। विमान उड़ाना, पियानो बजाना और नई चीजें सीखना उनके पसंदीदा शौक थे।

कभी नहीं मरते महानायक

उनके निधन से भारतीय उद्योग जगत में एक युग का अंत हो गया। महापुरुष कभी मरते नहीं, वे अपनी विरासत के रूप में हमेशा जिंदा रहते हैं। शत-शत नमन!